वस्त्रों से अधिक कामुक क्यों लगते हैं इंसान? जबकि नग्नता इतनी कामुक नहीं लगती? ऐसा सिर्फ उनके साथ होता है जिनका तन मेन्टेन नहीं होता। जो पोर्नस्टार्स बॉडी मेन्टेन रखती हैं उनको नँगा देखना आनंद देता है लेकिन जो बेडौल हो उसे आधा अधूरा ही देखकर मन को धोखा दे सकते हैं। 😁
मेरा तो यही मानना है। कपड़े को छोड़ दें तो सब की सच्चाई सामने आ जाएगी। सब व्यायाम करने लगेंगे और स्वस्थ/सुगढ़ शरीर के मालिक बनेंगे। बाकी polygamous स्वभाव है, एक ही इंसान से ज्यादा दिन तक कामोतेजना नहीं होती और शरीर की सही नापतोल भी ज़िम्मेदार है लम्बे समय तक आकर्षण के लिये।
स्तनों, चेहरे, कमर व कूल्हे के आकार प्रकार से बहुत फर्क पड़ता है कामोतेजना के लिए। ये सब भी तबतक जबतक अगले के विचार समान हों या पता ही न हों। विचार उल्टे हों और बहस में गलती न मानी जाए तो कामुकता मर सकती है। 😁
परन्तु ऐसा सिर्फ शुरू में होता है। यदि लगातार नग्न लोगों के साथ रहें तो बिना अगले की कुदरती कामेच्छा के छुए कामोत्तेजना होनी बन्द हो जाएगी। इसीलिए न्यूडिस्ट लोगों में बलात्कार होने की संभावना न के बराबर रहती है जबकि कपड़ो में ये हमेशा 100% बनी रहती है। जो मन को दबा लेते हैं वही रुके हुए हैं अन्यथा वस्त्रों व श्रंगार से धोखा तो हर कोई दे रहा है। ~ Shubhanshu Dharmamukt 2020©
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